420_THOUGHTS AND QUOTES GIVEN BY PUJYA ASHARAM JI BAPU
तू अपनी चतुराई के बल पर हरि को कितना भी खोजता फिर, कितना भी कष्ट सहन कर परंतु चित्त में भ्रम बना रहने से ज्ञान का प्रकाश नहीं होगा। तू अपनी चतुराई छोड़ तो आत्मा का ज्ञान अपने आप तेरे चित्त में प्रकाशित होगा।
Pujya Asharam Ji Bapu
No comments:
Post a Comment
Note: only a member of this blog may post a comment.