946_THOUGHTS AND QUOTES GIVEN BY PUJYA ASHARAM JI BAPU
शरीर
की आवश्यकता
पूरी करने के
लिए
पुरूषार्थ
करना हाथ-पैर
चलाना, काम
करना, इसकी
मनाही नहीं
है। लेकिन
इसके पीछे
अन्धी दौड़
लगाकर अपनी
चिन्तनशक्ति
नष्ट कर देना
यह बहुत
हानिकारक है।
-Pujya Asharam Ji Bapu
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